पारो शैवलिनी की रिपोर्ट चित्तरंजन रेलनगरी से सटे हिन्दुस्तान केबल्स का भाग्य चमकेगा? इस बात को लेकर पुनः एक बार एचसीएल कारखाना चर्चा मे...
पारो शैवलिनी की रिपोर्ट
चित्तरंजन रेलनगरी से सटे हिन्दुस्तान केबल्स का भाग्य चमकेगा? इस बात को लेकर पुनः एक बार एचसीएल कारखाना चर्चा में है। बताया जाता है,इस बार केन्द्रीय औद्योगिक सुरक्षा बल के बर्नपुर यूनिट के डीआईजी प्रबोध चंद्रा ने अपने दो वरिष्ठ अधिकारियों के साथ कारखाने का औचक दौरा किया।जानकारी यह भी है कि एचसीएल परिसर का घुम-घुम कर निरीक्षण करने के बाद लगभग घंटे भर एक बंद कमरे में गुप्त बैठक की। बैठक दोपहर लगभग चार बजे से लेकर शाम पाँच बजे के आस-पास समाप्त हुई। डीआईजी ने एचसीएल के प्रशासनिक अधिकारी आरएन ओझा से विस्तृत जानकारी हासिल की।परन्तु,कहीं कोई स्थानीय निरीक्षण नहीं किया गया।
गौरतलब है,947 एकड़ भूमि पर फैला एचसीएल की जमीन का एक बहुत बड़ा हिस्सा सीआईएसएफ या केन्द्र सरकार की किसी खास परियोजना के लिए ग्रहण किया जा सकता है। आश्चर्य तो इस बात का भी है कि इस खास बैठक के बाद डीआईजी साहब ने मीडिया से बात करना कोई जरूरी नहीं समझा ।
हिन्दुस्तान केबल्स की आम जनता इसे महज एक चुनावी फितरा मान रही है।क्योंकि,इसके कुछ दिनों पहले डिफेन्स की तरफ से भी ऐसा ही ड्रामा किया जा चुका है।
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