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अरसू में दूध उत्पादकों की आर्थिकी को सुदृढ़ करने के लिए हिमाचल दूध उत्पादक संघ ने किया बैठक का आयोजन।

लीला चन्द जोशी। ब्यूरो निरमंड। हिमाचल दूध उत्पादक संघ,दूध उत्पादकों की आर्थिकी को सुदृढ़ करने के लिए दूध उत्पादकों की समस्याओं क...

लीला चन्द जोशी।
ब्यूरो निरमंड।
हिमाचल दूध उत्पादक संघ,दूध उत्पादकों की आर्थिकी को सुदृढ़ करने के लिए दूध उत्पादकों की समस्याओं को लेकर आज निरमण्ड ब्लॉक के अरसू मे बैठक का आयोजन किया गया। जिसमें अरसू कोट,कोटि,बाड़ी,बड़ीधार पंचायत के दूध उत्पादकों ने हिस्सा लिया।बैठक मे दूध उत्पादकों की समस्याओं पर चर्चा की गई और 24 फरवरी को दूध टिकरी मे मिल्क फेडरेशन चिलिंग प्लांट के बाहर प्रदर्शन बंद,व 7 मार्च को दत्तनगर मे मिल्क फेडरेशन का घेराव व क्रमिक अनशन की तैयारियों पर चर्चा की गई।बैठक मे हिमाचल दूध उत्पादक संघ के सचिव देवकी नंद,किसान सभा निरमंड ब्लॉक के सचिव जगदीश व दूध उत्पादक संघ निरमंड ब्लॉक के सचिव दुर्गा नंद विशेष रूप से मौजूद रहे।
बैठक मे उपस्थित सदस्यों को संबोधित करते हुए उन्होंने कहा कि आज के समय में दूध उत्पादकों को बहुत कठिनाई का सामना करना पड़ रहा है। दूध उत्पादकों को ना तो दूध का उचित दाम मिल रहे हैं और ना ही दूध की पेमैंट समय पर मिल रही है।दूध के दाम पानी से भी कम मिल रहे हैं जिससे कि इन परिवारों को अपने परिवार का पालन पोषण करना मुश्किल हो रहा है।
   उन्होंने कहा कि प्रदेश सरकार द्वारा दूध उत्पादकों के लिए कोई ठोस नीति नहीं बना रही हैं।बजट का भी अभाव है।जिससे कि पेमेंट मिलने का कोई निश्चित समय नहीं है कभी कभी तो पेमेंट दो माह बाद भी मिल रही है। जिससे कि इन पर दोहरी मार पढ़ रही है।
   उन्होंने कहा कि दूध उत्पादक संघ ने कई बार दुग्ध उत्पादकों की समस्याओं को प्रदेश सरकार के सामने रखा है परंतु प्रदेश सरकार इनकी समस्याओं के प्रति गंभीर नहीं है जिससे कि दूध आज पानी से भी सस्ता बिक रहा है। 
    उन्होंने कहा कि देश व प्रदेश में मंहगाई लगातार बढ़ रही है जिससे कि खाद्य वस्तुओं के अलावा पशुओं को मिलने वाले पशु आहार,फीड व दवाई के दाम भी बढ़े हैं जिससे कि दूध को पैदा करने मे लागत भी बढ़ रही है।सरकार की गलत नीतियों के चलते किसानी व पशु पालन घाटे का सौदा बन रहा है।
      उन्होंन कहा कि 31 जनवरी को दूध उत्पादक संघ ने प्रदेश सरकार को  8 सूत्रीय मांग पत्र दिया है जिसमें मुख्य रूप से दूध का दाम 40 रुपये प्रति लीटर दिया जाए,दूध की पेमेंट हर महीने 10 तारीख से पहले दी जाए,पशु आहार पर सब्सिडी दी जाए तथा डिपुओं के माध्यम से उपलब्ध करवाया जाए, पशु औषधालयों में खाली पद भरे जायें,मिल्क फेडरेशन के बजट को 50 करोड़ किया जाए,सभी सोसायटी में दूध की गुणवत्ता को मापने के लिए टेस्टिंग मशीन दी जाए।
इस बैठक मे सुरजीत,नीटू, बेगू राम,कांशी राम,रोशन लाल,देव राज,तुला देवी, बुद्धा
 देवी,कला,मीना देवी,सुषमा देवी,लीला देवी,शकुंतला,रामदासी आदि शामिल थे।

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